विदेशों में भारतीय घरेलू सेवक

विदेशों में भारतीय घरेलू सेवक

       प्रवासी भारतीय कार्य मंत्री श्री व्यालार रवि ने आज एक प्रश्न के लिखित उत्तर में बताया कि खाड़ी क्षेत्र में घरेलू कामकाज में लगी भारतीय महिलाओं की संख्या लगभग 5 लाख है ।

       एक अन्य प्रश्न के उत्तर में उन्होंने बताया कि हमारे कामगारों, विशेष रूप से महिला उत्प्रवासियों जैसे असहाय वर्गों के बेहतर संरक्षण और कल्याण के लिए विशिष्ट नीतिगत पहल की गई हैं । किए गए उपायों में मेजबान देशों में 247 हेल्पलाइन की स्थापना, उत्प्रवास स्वीकृति अपेक्षित वाल पासपोर्ट रखने वाले सभी महिला उत्प्रवासियों के लिए 30 वर्ष की न्यूनतम आयु सीमा लागू करना, उत्प्रवास स्वीकृति अपेक्षित वाले पासपोर्ट रखने वाली सभी महिला उत्प्रवासियों के लिए न्यूनतम मजदूरी, रोजगार दस्तावेजों के अनिवार्य सत्यापन को परिभाषित करना, व्यथित उत्प्रवासियों के लिए आश्रय का प्रबन्ध करना, अनौपचारिक क्षेत्र में श्रमिकों को श्रम कानून का संरक्षण प्रदान करने के लिए मेजबान देशों पर राजनयिक दबाव बनाना और उत्प्रवासी श्रमिकों के संरक्षण और कल्याण के उद्देश्य से द्विपक्षीय श्रम सहयोग हेतु औपचारिक समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर करना शामिल हैं ।

       उन्होंने बताया कि सरकार ने संयुक्त अरब अमीरात के साथ दिसम्बर, 2006 और कुवैत के साथ अप्रैल, 2007 में एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए हैं । मंत्रालय ने कतर के साथ 1985 के करार को अद्यतन बनाने के लिए एक अतिरिक्त नयाचार को अंतिम रूप दिया है । मलेशिया के साथ समझौता ज्ञापन पर लघु हस्ताक्षर किए जा चुके हैं ।

       समझौता ज्ञापन में द्विपक्षीय विषयों पर चर्चा करने के लिए एक संयुक्त कार्यकारी समूह की एक वर्ष में 2 बैठकों की व्यवस्था है । यह तंत्र समझौता ज्ञापन के प्रावधानों को लागू करने के लिए प्रयोग किया जाएगा ।

 

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